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जौनपुर : पूर्ण स्ववित्तपोषित महाविद्यालय शिक्षक संघ के प्रदेश अध्यक्ष ने छेड़ी भ्रष्टाचार के खिलाफ जंग : प्रदेश के सभी 16 राज्य विश्वविद्यालयो में व्याप्त भ्रष्टाचार के खिलाफ प्रदेश अध्यक्ष विवेक पांडेय ने खोला मोर्चा

पूर्ण स्ववित्तपोषित महाविद्यालय शिक्षक संघ के प्रदेश अध्यक्ष ने छेड़ी भ्रष्टाचार के खिलाफ जंग : प्रदेश के सभी 16 राज्य विश्वविद्यालयो में व्याप्त भ्रष्टाचार के खिलाफ प्रदेश अध्यक्ष विवेक पांडेय ने खोला मोर्चा , सुप्रीम कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश, पीएम मोदी व सीएम योगी को 50 पेज का साक्ष्य भेज उठायी जांच की मांग
 डॉ सुनील ओझा की रिपोर्ट

बलिया/जौनपुर 22 अक्टूबर 2019 ।।
पूर्ण स्ववित्तपोषित महाविद्यालय शिक्षक संघ के प्रदेश अध्यक्ष डॉ विवेक पाण्डेय ने उत्तर प्रदेश के 16 राज्य विश्वविद्यालय से सम्बद्ध महाविद्यालयों में व्याप्त भ्र्ष्टाचार से सम्बंधित पूर्ण विवरण लगभग 50 पेज से ज्यादा साक्ष्यों के साथ चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया श्री रंजन गोगोई,रजिस्ट्रार ऑफ सुप्रीम कोर्ट नई दिल्ली, माननीय प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी जी,मुख्यमंत्री श्री योगी आदित्यनाथ जी को भेज कर उच्च शिक्षा में व्याप्त भ्र्ष्टाचार की जाँच की माँग की है  और भ्र्ष्टाचार के कारण  प्रदेश  के विभिन्न विश्वविद्यालयों से सम्बंधित महाविद्यालयों में अध्यनरत 50 से 60  लाख छात्र एवं छात्राएं के भविष्य को बर्बाद  होने से बचाने की माँग की है । डॉ पांडेय ने स्ववित्तपोषित महाविद्यालयो की पूरी पोल पट्टी खोलते हुए राज्य विश्वविद्यालयो और स्ववित्तपोषित महाविद्यालयों के प्रबंधतंत्र की मिलीभगत को उजागर करते हुए स्पष्टरूप से कहा है कि ये महाविद्यालय भ्रष्टाचार में आकंठ डूब कर मात्र डिग्री बांटने का केंद्र बनकर रह गये है । डॉ पांडेय ने कहा है कि प्रदेश की उच्च शिक्षा देने वाले महाविद्यालयो में 90 प्रतिशत महाविद्यालय स्ववित्तपोषित है । इनमे ठेके के प्राचार्य और शिक्षक है जो विश्वविद्यालयो से मिलीभगत के कारण अनुमोदित होकर घर बैठे तय रकम लेते है । अधिसंख्य महाविद्यालयों में पढ़ाने वाले शिक्षकों को उस विषय को भी पढ़ाना पड़ता है जो विषय स्वयं पढ़े ही नही होते है । इन महाविद्यालयो में शिक्षकों की स्थिति बंधुआ मजदूर से भी बदतर है । यहां शिक्षकों का शोषण , छात्रों और अभिभावकों का शोषण आम बात है । शोषण की शिकायत करने वाले शिक्षक को बेरोजगार हो जाना पड़ता है जिसकी डर से शिक्षक अपने आप को शोषण होने के लिये प्रबंधतंत्र के आगे प्रस्तुत करने को विवश है । डॉ पांडेय ने कहा है कि अगर इस शिकायत की जांच नही होती है तो संघ के माध्यम से जनहित याचिका दायर कर विश्वविद्यालयो और महाविद्यालयो के भ्रष्टाचारी नापाक गठजोड़ को तोड़ने की गुहार लगाएंगे ।