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बोले डीएम : संघर्ष की शक्ति और कुछ पाने की ललक सफलता का मूलमंत्र: किल कोरोना प्रतियोगिता के विजेताओं को पुरस्कृत कर दिए सन्देश





बच्चों से की बातचीत, परिषदीय विद्यालय के अपने अनुभव को किया साझा

बलिया: जनजागरूकता के लिए हुई ऑनलाइन किल कोरोना प्रतियोगिता में प्रथम व द्वितीय स्थान पाए उच्च प्रथनिक विद्यालय अखार (दुबहड़) के आशीष कुमार व उप्रावि बैरिया के हैदर अली को जिलाधिकारी एसपी शाही ने पुरस्कृत किया। फाइनल के प्रतिभागी रूपांजलि उपाध्याय व रोहित को भी प्रमाण पत्र देकर उनका उत्साह बढ़ाया।

जिलाधिकारी श्री शाही ने कहा कि निश्चित रूप से इस प्रतियोगिता के आयोजन से दूरदराज के ग्रामीण क्षेत्र के बच्चों में जागरूकता आई होगी। उन्होंने संदेश दिया कि परिषदीय विद्यालय के बच्चे जुझारू और संघर्षशील होते हैं। सीमित संसाधनों व सुविधाओं के बीच यह बच्चे हर मौके पर अपनी क्षमता को साबित किए हैं। संघर्ष करने की शक्ति और कुछ पाने की ललक बनाए रखनी है। ऊंचाइयों पर जाने का यही असली हथियार है। विजेता बच्चों से बातचीत के दौरान जिलाधिकारी ने परिषदीय विद्यालय में पढ़ने के दौरान की अपनी यादों को भी साझा किया। इससे बच्चे और भी खुश हुए। अध्यापकों के संबंध में कहा कि कक्षा पहली से पांचवी तक जो शिक्षा देनी है, कम से कम वह जानकारी स्पष्ट होना चाहिए। कई मौके पर ऐसा देखा गया है कि प्राथमिक शिक्षक की जानकारी देने में कतिपय शिक्षकों की रूचि नहीं दिखती है। स्कूल तो चाहे जितना भी सजा लें, पर उसकी आत्मा, यानि शिक्षा का स्तर नहीं रहेगा तो फिर कोई मतलब नहीं रह जाएगा। इसी आत्मा को सुधारने की जरूरत है।

इस ऑनलाइन प्रतियोगिता के संचालन में अहम भूमिका निभाने वाले सीडीओ विपिन जैन ने कहा कि विजेताओं ने पहले ब्लॉक स्तर फिर जिले स्तर पर जीत हासिल की। यह उनकी सफलता की छलांगों की शुरूआत है। उन्होंने सभी प्रतिभागियों का भी उत्साहवर्धन करते हुए उनके उज्ज्वल भविष्य की कामना की। बीएसए एसएन सिंह ने कहा कि शिक्षा के हार्डवेयर व सॉफ्टवेयर, यानी अंदरूनी व बाहरी स्तर के सुधार पर काम कर रहे हैं। लगातार प्रशिक्षण दिया जा रहा है।

परिषदीय विद्यालय के बच्चों के संबोधन को सराहा

फाइनल में भाग लिए बच्चों ने दो-दो मिनट का भाषण भी दिया, जिसकी सराहना जिलाधिकारी ने की। फाइनल की प्रतिभागी प्रियंजली उपाध्याय ने अपने शानदार सम्बोधन में कहा कि प्रतियोगिता में हार जीत लगी रहती है। जीतता वही है जो प्रतियोगिता में प्रतिभाग करता है और हार कर भी सीखने की कोशिश जारी रखता है। सभी अधिकारियों ने प्रियंजलि की इस प्रतिभा की तारीफ की। इस अवसर पर किल कोरोना टीम के सदस्य मनोज चतुर्वेदी, प्रतिमा उपाध्याय, डॉ पूजा भट्ट, चित्रलेखा सिंह, शशि कुमार आदि थे। संचालन एआरपी अब्दुल अव्वल ने किया।