Breaking News

आखिर क्यों है सुर्खियों में योगी सरकार के नये मंत्री दयाशंकर सिंह



लखनऊ : यूपी सरकार के मुख्यमंत्री के तौर पर 37 साल बाद आज लगातार दूसरी बार योगी आदित्यनाथ ने शपथ ग्रहण किया। सीएम योगी के साथ दो डिप्टी सीएम और करीब 50 कैबिनेट और राज्यमंत्रियों ने भी शपथ ग्रहण की। योगी के दूसरे कार्यकाल में जिन मंत्रियों के नाम सुर्खियों में हैं उनमें एक नाम बलिया नगर सीट से विधायक बने भाजपा के कद्दवार नेता दयाशंकर सिंह का है। जिन्हें यूपी सरकार में राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) नियुक्त किया गया है।



पिछली योगी सरकार में पत्नी स्वाति सिंह बनी थी मंत्री

योगी आदित्यनाथ के पहले कार्यकाल में दयाशंकर सिंह की पत्नी स्वाति सिंह मंत्री बनाई गई थी। दयाशंकर सिंह की पत्नी स्वाति सिंह महिला और बाल विकास मंत्री थीं। इससे पहले लखनऊ की सरोजनी नगर सीट पर टिकट को लेकर दयाशंकर सिंह और उनकी पत्नी स्वाति सिंह दोनों ही दावा ठोक रहे थे, लेकिन बीजेपी ने यहां से दोनों का ही पत्ता काट दिया था। बाद में स्वाति की जगह टिकट उनके पति दयाशंकर सिंह को बलिया नगर से मिला था।



 बक्सर बिहार के मूल निवासी हैं दयाशंकर सिंह

इस बार के विधानसभा चुनाव में भारतीय जनता पार्टी ने दयाशंकर सिंह को बलिया नगर से अपना प्रत्याशी बनाया था।दयाशंकर सिंह ने बलिया नगर विधानसभा सीट से सपा प्रत्याशी व पूर्व मंत्री नारद राय को 26239 वोटों से हराया है। 




बता दे कि दयाशंकर मूल रूप से बिहार राज्य के बक्सर जिला के निवासी हैं। इनका मूल निवास बलिया शहर के दक्षिणी छोर से गंगा नदी के उस पार गांव बड़का राजपुर है। श्री सिंह की पढ़ाई लिखाई और शुरुआती राजनीति बलिया की ही रही है। दयाशंकर सिंह ने राजनीति का ककहरा बैरिया विधानसभा से विधायक रहे अपने  मामा मैनेजर सिंह के साथ सीखा ।





लखनऊ विश्वविद्यालय के रहे चुके हैं अध्यक्ष,व महासचिव

दयाशंकर सिंह ने बलिया में 12वीं तक पढ़ाई की । उसके बाद लखनऊ विश्वविद्यालय में दाखिला लिया। दयाशंकर सिंह ने अपने राजनैतिक सफर की शुरूआत छात्र राजनीति से की थी। लखनऊ विश्वविद्यालय में अपने कॉलेज के दिनों में एबीवीपी के सदस्य रहे। 1997 से 1998 तक दयाशंकर लखनऊ विश्वविद्यालय छात्र संघ के महासचिव भी रहे। वहीं 1998 से 1999 तक एलयू के छात्र संघ अध्यक्ष रहे। वर्ष 2000 में उन्हें भारतीय जनता युवा मोर्चा उत्तर प्रदेश का मंत्री बनाया गया।



2016 में मायावती पर कमेंट करने के कारण आये थे सुर्खियों में

वर्ष 2002 में वे भारतीय जनता युवा मोर्चा के प्रदेश उपाध्यक्ष बने। वर्ष 2003 में उन्हें युवा मोर्चा का राष्ट्रीय मंत्री बनाया गया। 2005 में भारतीय जनता युवा मोर्चा का उन्हें राष्ट्रीय उपाध्यक्ष बनाया गया। जिसके बाद भाजयुमो में कई पदों पर रहने के बाद 2007 में दयाशंकर को भाजयुमो उत्तर प्रदेश का अध्यक्ष बना दिया गया। साल 2007 में ही दयाशंकर ने पहली बार बलिया नगर सीट से चुनाव लड़ा लेकिन उनको करारी हार का सामना करना पड़ा। इसके बाद साल 2010 और 2012 में इनको उत्तर प्रदेश बीजेपी के प्रदेश मंत्री बनाया गया। साल 2015 में दयाशंकर सिंह को उत्तर प्रदेश बीजेपी के उपाध्यक्ष पद की जिम्मेदारी दी गई। जुलाई 2016 में मायावती पर अभ्रद टिप्पणी के बाद दयाशंकर सिंह चर्चा में आए थे। इस टिप्पणी के कारण भाजपा ने 6 साल के लिये निष्काषित भी कर दिया था ।