खनन ठेकेदार द्वारा खनन में वर्जित मशीन का प्रयोग करके की जा रही है पुल के नजदीक बालू की निकासी, तुर्तीपार भागलपुर पुल को हो सकता है नुकसान
बलिया।। घाघरा नदी के खैराखास में बालू खनन के ठीकेदार द्वारा नियम के विरुद्ध रात के अंधेरे को छोड़िये अब दिन के उजाले में भी मानक की धज्जियां उड़ाते हुए लिफ्टर पंप मशीन से बालू का खनन किया जा रहा है। बता दे कि खनन में इस मशीन का प्रयोग वर्जित है। वावजूद सम्बंधित खनन विभाग व जिला प्रशासन की चुप्पी से इनकी कार्य प्रणाली पर सवालिया निशान लगने लगा है। लिफ्टर मशीन द्वारा मानक के विपरीत हो रहे बालू खनन का वीडियो वायरल हो रहा है। बालू खनन से बड़ा गढ्ढा होने से तुर्तीपार - भागलपुर पुल के क्षतिग्रस्त होने की संभावना बढ़ गयी है। स्थानीय अधिकारी भी इस अवैध रूप से हो रहे खनन की सुधि नही ले रहे है।
ज्ञात हो कि जिले के सरहद से देवरिया को जोड़ने वाला तुर्तीपार - भागलपुर पुल से लगभग 250 मीटर दूर खैरा खास में खनन विभाग द्वारा बालू खनन का ठिका स्वीकृति किया गया। किन्तु सम्बंधित ठीकेदार द्वारा सम्बंधित अधिकारियों के मिली भगत से मानक के विपरीत लिफ्टर मशीन के माध्यम से घाघरा नदी से रात में बालू का खनन कराया जा रहा है। जिससे नदी के किनारे गहरा गढ्ढा हो गया है ।तुर्तीपार - भागलपुर पुल के पहले से ही क्षतिग्रस्त होने से लगभग 2 वर्ष से मरम्मत का कार्य चल रहा है। लगभग 250 मीटर दूर गहरा गढ्ढा होने से क्षतिग्रस्त पुल के लिए गम्भीर समस्या हो गयी है। इस सम्बंध में जिला खनन अधिकारी रितेश कुमार से बात किया गया तो उन्होंने बताया कि इसकी नापी के लिए उपजिलाधिकारी , लेखपाल और स्थानीय थाने को आदेशित किया गया है। गुरुवार को पुनः नापी की जायेगी। किन्तु नापी होने से पहले ही मानक के विपरीत बालू खनन कार्य निर्वाध रूप से जारी है।
बता दे कि 8 नवंबर 2023 को भी बलिया एक्सप्रेस ने रात के अँधेरे में हो रहे खनन का वीडियो सहित खबर का प्रकाशन किया था। नीचे 8 नवंबर वाली खबर है।
बिल्थरारोड बलिया 8 नवंबर 2023।। घाघरा नदी के खैराखास में बालू खनन से सम्बंधित ठीकेदार द्वारा नियम के विरुद्ध रात के अंधेरे में मानक की धज्जियां उड़ाते हुए पोकलेन से बालू का खनन किया जा रहा है। जिससे बड़ा गढ्ढा होने से तुर्तीपार - भागलपुर पुल के क्षति होने की संभावना बढ़ गयी है। स्थानीय अधिकारी भी सुधि नही ले रहे है। ज्ञात हो कि जिले के सरहद से देवरिया को जोड़ने वाला तुर्तीपार - भागलपुर पुल से लगभग 250 मीटर दूर खैरा खास में खनन विभाग द्वारा बालू खनन का ठिका स्वीकृति किया गया।
किन्तु सम्बंधित ठीकेदार द्वारा सम्बंधित अधिकारियों के मिली भगत से मानक के विपरीत पोकलेन मशीन के माध्यम से घाघरा नदी से रात में बालू का खनन कराया जा रहा है। जिससे नदी के किनारे गहरा गढ्ढा हो गया है ।तुर्तीपार - भागलपुर पुल के पहले से ही क्षतिग्रस्त होने से लगभग 2 वर्ष से मरम्मत का कार्य चल रहा है। लगभग 250 मीटर दूर गहरा गढ्ढा होने से क्षतिग्रस्त पुल के लिए गम्भीर समस्या हो सकती है। इस सम्बंध में जिला खनन अधिकारी से बात किया गया तो उन्होंने बताया कि इसको दिखवा रहे है। मानक के विपरीत खनन मिलने पर करवाई की जायेगी।