गंगा नदी पर नहीं बना अबतक पीपा पुल, आधा दर्जन गांवो के लोगों को करनी पड़ रही है मजबूरन नाव की सवारी
श्रीमन तिवारी
बैरिया बलिया।।निर्धारित समय सीमा से लगभग चार माह बीतने के बाद भी संबंधित अधिकारियों की लापरवाही से गंगा नदी के नौरंगा घाट पर पीपा पुल नहीं लग पाया है।जिसके चलते आधा दर्जन गांवों के लोग नाव के सहारे गंगा नदी में आवागमन करने को मजबूर हैं।तहसील क्षेत्र के नौरंगा गंगा घाट पर बनने वाला पीपा पुल अब तक आधा-अधूरा लगने से ग्रामीणों में काफी आक्रोश है।पीपा पुल के शुरू नहीं होने के कारण गंगा उस पार के नौरंगा,चक्की नौरंगा,भुवालछपरा,उदईछपरा के डेरा आदि गांव की लगभग 30 हजार की आबादी को तहसील मुख्यालय व जिला मुख्यालय आना-जाने में बड़ी मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है।शासन के नियमानुसार हर साल 15 अक्तूबर को पीपा पुल बनकर तैयार हो जाना चाहिए और 15 जून को पीपा पुल को हटा लिया जाता है।लेकिन नौरंगा गंगा घाट पर बनने वाले पीपा पुल निर्धारित समय के लगभग चार माह बाद भी पीपा पुल के दोनों तरफ का नोज काफी दिनों से निर्माण का बाट जोह रहा है।
पीपा पुल का संचालन नहीं होने के कारण क्षेत्रीय ग्रामीणों व खासकर कर शादी विवाह कार्य को लेकर आने वाले लोगों को जिला मुख्यालय पहुंचने के लिए 28 किमी के स्थान पर लगभग 75 किमी. की दूरी तय करनी पड़ रही है।बता दें कि काफी बिलंब से नौरंगा गंगा घाट पर पुल लगाने का काम तो विभागीय कर्मियों ने शुरु किया,बावजूद इसके अब तक पीपा पुल पूर्ण रूप से तैयार नहीं हुआ है,और यह कब-तक बनकर तैयार होगा यह बताने वाला भी कोई नहीं है।नौरंगा के ग्राम प्रधान सुरेन्द्र ठाकुर,भुवाल छपरा निवासी रमाकांत ठाकुर,रामजी ठाकुर,अरूण ठाकुर, विनोद ठाकुर,दशरथ ठाकुर आदि ग्रामीणों ने बताया कि पीपा पुल निर्माण को लेकर विभाग उदासीन बना हुआ है।जिसके चलते मजबूरन नाव से आवागमन करने को मजबुर है।