डॉ भारतेन्दु कुमार पाठक बने केंद्रीय विश्वविद्यालय नागालैंड मे प्रोफेसर, पूरे गांव मे हर्ष का माहौल
मधुसूदन सिंह
लालगंज (बलिया) ।। बुलंद हो हौंसला तो मुट्ठी में हर मुकाम है। ऐसा ही कर दिखाया है ग्रामीण परिवेश में जन्मे डॉ भारतेन्दु कुमार पाठक ने,जो ग्रामीण परिवेश से निकल कर प्रोफेसर के पद पर अपनी सेवाएं देंगे। विकास खण्ड मुरली छपरा के ग्राम पंचायत हृदयपुर के निवासी डॉ भारतेन्दु कुमार पाठक पुत्र श्रीकृष्ण पाठक ( सेवानिवृत्त अध्यापक,रामनाथ पाठक इंटर कालेज मुरारपट्टी, बलिया),का चयन केन्द्रीय विश्वविद्यालय नागालैंड के हिन्दी विभाग में प्रोफेसर के पद पर हुआ है। डॉ पाठक के चयनित होने पर हृदयपुर गांव सहित पूरे क्षेत्र में खुशी का माहौल है, शुक्रवार को उनके दरवाजे पर बधाई देने वालों का तांता लगा हुआ है।
डॉ पाठक के अनुज व हृदयपुर के ग्राम प्रधान प्रतिनिधि मोनू पाठक ने बताया कि भारतेन्दु कुमार पाठक शुरू से ही पढ़ाई में मेहनती व लगनशील थे । उनके चयनित होने पर आज हृदयपुर गांव सहित पूरे बलिया जिले का नाम रोशन हुआ है। पूरे गांव में उत्सव सा खुशी का माहौल है।
बता दें कि डॉ भारतेन्दु, इससे पहले कश्मीर विश्वविद्यालय श्रीनगर में सन् 2013 से आज तक स्थायी रुप से असिस्टेंट प्रोफेसर के पद पर अपनी सेवाएं दे रहे थे ।इनके निर्देशन में अनेक शोधार्थी पीएचडी की उपाधि पा चुके हैं । इनकी शिक्षा बलिया व वाराणसी से सम्पन्न हुई है। इन्होंने बीए०,पीजी कॉलेज दुबे छपरा से एवं बीएड, दूजा देवी महाविद्यालय सहतवार से तथा एम०ए० व जेआरएफ०/एसआरएफ० यूजीसी नेट (पीएचडी )काशी हिन्दू विश्वविद्यालय वाराणसी से उत्तीर्ण की है । ये झारखंड शासन में प्रवक्ता के पद पर भी सेवाएं दे चुके है। डॉ पाठक हिन्दी भाषा व साहित्य के प्रचार-प्रसार में सतत् प्रयासरत रहते है और अहिन्दी भाषी कश्मीर जैसे प्रदेश में हिन्दी की ज्योति जला रहे थे साथ ही बलिया व वाराणसी के साहित्यकारों से पूरे भारत को परिचित करा रहे थे । ग्रामीणों ने बताया कि इनके प्रोफेसर के पद पर नियुक्ति होने से गांव के साथ- साथ पूरा बलिया गौरवान्वित हुआ है।
उनके इस उपलब्धि पर क्षेत्रीय शैक्षिक, सामाजिक और साहित्य जगत व विकास खण्ड मुरली छपरा के प्रधान संगठन से जुड़े लोगों द्वारा प्रसन्नता व्यक्त कर उनके आवास पर बधाई देने का तांता लगा हुआ है।
इस अवसर पर आचार्य हजारी प्रसाद द्विवेदी स्मारक समिति ओझवलिया के प्रबंधक सुशील कुमार द्विवेदी, डॉ क्षेमेन्द्र भारद्वाज, डॉ के के रंजन, कन्हैया पाठक, डॉ सुदर्शन प्रसाद, ब्रह्मनंद तिवारी, अविनाश कन्नौजिया, मोनू यादव, अशोक कुमार, सत्येन्द्र चौबे सहित दर्जनों लोग बधाई देने के लिए मौजूद रहे।